पंजाब किंग्स के कप्तान श्रेयस अय्यर  इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) के इस सत्र में भले ही अपनी टीम को खिताब नहीं जिता पाये हों पर वह एक बेहतर नेतृत्वकर्ता के रुप में उभरे हैं।  श्रेयस ने जहां पिछले सत्र  में कोलकाता नाइट राइडर्स (केकेाआर) को 10 साल बार खिताब जिताया था। वहीं इस बार पंजाब की कप्तानी करते हुए उसे 11 साल बाद फाइनल में  पहुंचाने में वह सफल रहे। इस दौरान वह एक संयमित कप्तान के तौर पर उभरे हैं जो दबाव के बीच भी शांत बना रहता है।  उनकी कप्तानी में एक बार दिल्ली कैपिटल्स भी फाइनल में पहुंची थी। श्रेयस महेंद्र सिंह धोनी और रोहित शर्मा के बाद आईपीएल के तीन फाइनल में पहुंचने वाले तीसरे कप्तान हैं। उनकी यह उपलब्धि बेहद ही खास है क्योंकि उन्होंने पिछले पांच सालों में तीन अलग-अलग फ्रेंचाइजी टीमों के साथ वह ऐसा करने में सफल रहे हैं।  उन्होंने आईपीएल के इस सत्र में 603 रन बनाये हैं। इस सब के बाद भी उन्हें इंग्लैंड दौरे के लिए भारतीय टेस्ट टीम में जगह नहीं मिली है जो हैरानी की बात है।
आईपीएल के पिछले सत्र में  केकेआर ने रिटेन नहीं किया था जिसके लिए अब वह जरुर पछता रही होगी। वहीं इससे पंजाब को खासा लाभ हुआ। वहीं पिछले सत्र में शीर्ष पांच टीमों में भी शामिल नहीं थी  पर  इस सत्र में दूसरे नंबर पर आई है।  श्रेयस के आने से पंजाब किंग्स को एक अच्छा बल्लेबाज और जुनूनी कप्तान मिला। ऐसा कप्तान जो करियर के उतार-चढ़ाव  के बीच भी स्थिर बना रहता  हो।  अय्यर की कप्तान में अपनी समझदारी के साथ करिश्माई महेंद्र सिंह धोनी जैसा संयम और विराट कोहली जैसा आक्रामक रवैया होने के साथ रोहित शर्मा जैसा बिंदास व्यवहार भी है। आईपीएल के फाइनल में मिली हार के बाद भी अय्यर का मनोबल कम नहीं हुंआ  और उन्होंने निराशा को पीछे छोड़ते हुए कहा, ‘अभी काम आधा बाकी है, हमें अगले साल जीतना है। वहीं इंग्लैंड के लिए टीम में उन्हें शामिल नहीं किये जाने से पंजाब किंग्स के  कोच रिकी पोंटिंग हैरान हैं। उनका कहना है कि इस झटके को भी श्रेयस ने आसानी से संभाल लिया। साथ ही कहा कि उसमें में हर बार अच्छा प्रदर्शन करने की ललक रहती है। वह हर मैच को जीतना चाहता है और एक सर्वश्रेष्ठ कप्तान के रूप में विकसित होना चाहता है।
दो बार के विश्व कप विजेता कप्तान का यह बयान काफी मायने रखता है। पोंटिंग ने यह बात सिर्फ अपने फ्रैंचाइजी कप्तान का समर्थन करने के लिए नहीं कही। इन दोनों के बीच काफी पुराना रिश्ता है। साल 2017 में जब गौतम गंभीर ने बीच सत्र में कप्तानी छोड़ने का फैसला किया, तो पोंटिंग की सलाह पर ही अय्यर दिल्ली आईपीएल फ्रैंचाइजी के कप्तान बने। दिल्ली की फ्रेंचाइजी 2020 में आईपीएल फाइनल में पहुंची जो इस टीम की इस लीग की अब तक की सबसे बड़ी उपलब्धि है। चोट के कारण ब्रेक लेने के बाद कैपिटल्स ने फैसला किया कि वे उन्हें टीम में बरकरार रख ऋषभ पंत को खोने का जोखिम नहीं उठा सकते हैं। पंत उस समय के उभरते सितारे थे और कप्तानी की महत्वाकांक्षा रखते थे।