लोकसभा चुनाव 2024 के नतीजों और एनडीए की सरकार बनने के बाद बीजेपी का ऑपरेशन लोटस एक बार फिर चर्चा में आ गया है. इस दौरान ये दावा किसी विपक्षी पार्टी ने नहीं बल्कि उनके ही पूर्व गठबंधन सहयोगी शिरोमणि अकाली दल के नेताओं ने किया है. दरअसल, एसएडी के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष परमजीत सिंह सरना ने बीजेपी पर गंभीर आरोप लगाए हैं. सरना ने बुधवार को दावा किया कि बीजेपी ऑपरेशन लोटस के जरिए क्षेत्रीय दलों को कमजोर करना चाहती है. परमजीत सिंह सरना ने कहा कि मैंने एक लिखित बयान दिया है. ऐसे में बीजेपी मेरे खिलाफ जो भी कार्रवाई करना चाहे, कर सकती है. अगर बीजेपी को लगता है कि यह एक फर्जी आरोप है, तो मैं उन्हें बहस के लिए बुलाता हूं, और मैं साबित कर दूंगा कि यह ऑपरेशन लोटस है. उन्होंने दावा किया कि बीजेपी सभी क्षेत्रीय दलों को कमजोर और खत्म करना चाहती है. परमजीत ने कहा कि हम ऐसा नहीं होने देंगे. दरअसल,  यह तब हुआ जब मंगलवार को शिरोमणि अकाली दल के वरिष्ठ नेताओं के एक वर्ग ने पार्टी प्रमुख सुखबीर सिंह बादल के खिलाफ असहमति जताई और एक प्रस्ताव पारित किया जिसमें मांग की गई कि लोकसभा चुनावों में अकाली दल की हार के बाद उन्हें पार्टी प्रमुख के पद से इस्तीफा दे देना चाहिए. यह बादल के लिए एक बड़ा झटका है. ये दरार तब पड़ी जब एक धड़े ने बादल से इस्तीफे की मांग करते हुए बैठक की जबकि दूसरे धड़े ने उन पर भरोसा जताया, जिसमें बागी नेता परमिंदर सिंह ढींडसा और बीबी जागीर कौर सहित अन्य वरिष्ठ नेताओं ने नेतृत्व में बदलाव की मांग करते हुए पार्टी प्रमुख सुखबीर सिंह बादल के खिलाफ विद्रोह शुरू कर दिया.


जानिए हरसिमरत कौर बादल ने क्या कहा?

इस पर शिरोमणि अकाली दल की सांसद और पार्टी प्रमुख सुखबीर बादल की पत्नी हरसिमरत कौर बादल ने कहा कि पूरा शिरोमणि अकाली दल एकजुट है और सुखबीर बादल के साथ खड़ा है. उन्होंने आरोप लगया कि बीजेपी के कुछ पिट्ठू शिरोमणि अकाली दल को तोड़ने की कोशिश कर रहे हैं. वे महाराष्ट्र में जैसा किया वैसा ही करना चाहते हैं. उन्होंने कहा कि शिरोमणि अकाली दल एकजुट है और वे विफल हो ने जा रहे. हरसिमरत कौर ने आगे कहा कि पार्टी के 117 नेताओं में से केवल 5 नेता सुखबीर सिंह बादल के खिलाफ हैं. जबकि 112 नेता पार्टी और सुखबीर बादल के साथ खड़े हैं.